श्री गजेन्द्रमोक्ष देवस्थानम में आज झूला महोत्सव का चौथा दिन –सोनपुर

सोनपुर –हरिहर क्षेत्र के प्रसिद्ध श्री गजेन्द्र मोक्ष देवस्थानम् नौलखा मन्दिर में श्रावणी झूला महोत्सव के चौथे दिन आज गुरुवार को श्रद्धालुओं को श्री स्वामी लक्ष्मणाचार्य जी महाराज ने श्री कृष्ण के यमलार्जुन मोक्ष लीला स्वरूप का ध्यानाकर्षण कराया.

उन्होंने कहा कि श्री कृष्ण बाल्यकाल में अन्यान्य लीला किए,माखनचोर, पूतना वध, विश्व रूप, मोहिनी रूप. झूला महोत्सव मनाते हुए श्री स्वामी लक्ष्मणाचार्य जी ने यमलार्जुन मोक्ष लीला के सम्बन्ध में विस्तार से बताया कि यक्षराज धनकुबेर के दो पुत्र नील कुबेर और मणिग्रीव यक्ष नारद जी के श्राप से यमल और अर्जुन के वृक्ष यमलार्जुन बन गए. मां यशोदा जी के आंगन में दोनों वृक्ष खड़े थे.यशोदा मैया दूध उबालने को देखने जाते समय लाला को ऊखल से बांध देती हैं. मां के हटते ही बालकृष्ण ऊखल खींचकर बाहर निकल आए और उन्होंने दोनों खड़े वृक्ष के बीच में ऊखल फसाते है और वह वृक्षों को उखाड़ देते हैं.

इस प्रकार दोनों वृक्ष से दो दिव्य पुरुष यक्षराज धनकुबेर के दो पुत्र का यमलार्जुन से मुक्त हो जाते हैं. श्री स्वामी लक्ष्मणाचार्य जी ने आगे कहा कि झूला महोत्सव का समापन कल श्रावणी पूर्णिमा को आनन्द मनाते हुए होगा और कल हम सभी भगवान श्री कृष्ण का विराट विश्व रूप का ध्यान करते हुए झूला महोत्सव सम्पन्न करेंगे.


रात्रि दस बजे तक भजन कीर्तन से भगवान को झूला झूलाते हुए श्री स्वामी लक्ष्मणाचार्य जी ने श्री बालाजी वेङ्कटेश श्रीदेवी श्री भूदेवी को कुंभ आरती ,कहली(द्रविड़ वाद्य) उद्घोष के साथ झूला विराम कराया. समस्त श्रद्धालुओं को प्रसाद वितरण किया गया. उक्त अवसर पर श्री लाल पाठक, ओंकार सिंह,रूपा द्वारा गाया गया गीत”झूला तो झूले रानी राधिका, और झूलावे नन्द कुमार महीना आयो सावन का
घिर घिर आई घटा पानी रे, आज बरसे रस की धार महीना आयो सावन का ,”वातावरण को भक्तिमय बना रहे थे. उपर्युक्त अवसर पर श्री संजय कुमार (यादव चौक), तारकेश्वर कुमार, दिलीप झा, फूल झा, समाजसेवी लाल बाबू पटेल, नन्द किशोर तिवारी,नरेशु सिंह जी निष्ठा से सम्मिलित हुए.

Ravi sharma

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