अधिकारियों के आदेश के बावजूद असर्वेक्षित भूमि पर जारी है निर्माण कार्य-पटना

पटना-सारण एवं वैशाली जिला के हजारों एकड़ असर्वेक्षित भूमि पर सालों से वहां के स्थानीय दबंगों द्वारा स्थानीय पुलिस-प्रशासन के मिलीभगत से अवैध कब्जा एवं निर्माण कर विभिन्न प्रकार के अवैध धंधो का संचालन किया जाता रहा है जिसमें मुख्य रूप से लाल सोना (बालू) का कारोबार है.सरकार के हालिया फैसले के मुताबिक सारण एवं वैशाली जिले के हजारों एकड़ असर्वेक्षित भूमि को इन जिलों के प्रशासनिक क्षेत्राधिकार से हटाते हुए इन्हें पटना जिला के प्रशासनिक क्षेत्राधिकार मे शामिल कर लिया गया है.

ऐसे ही एक मामले मे स्थानीय समाजसेवियों द्वारा आपत्ति दर्ज कराने पर पटनासिटी के अनुमंडलाधिकारी ने बीते दिनों स्थानीय पुलिस-प्रशासन को निर्देश दिया था कि अविलंब असर्वेक्षित भूमि पर चल रहे निर्माण कार्यो को रोका जाए पर अनुमंडलाधिकारी के आदेश के बावजूद अब तक ना ही कोई संतोषजनक कारवाई हो पाई ना ही असर्वेक्षित भूमि को मुक्त कराया जा सका है.आज भी कतिपय असामाजिक तत्वों द्वारा जबरन कब्जा कर लगातार अवैध निर्माण एवं अवैध रूप से बालू समेत अन्य व्यवसाय किया जा रहा है.

पटनासिटी के अनुमंडलाधिकारी द्वारा प्रेषित पत्र मे स्पष्ट रूप से उल्लेखित है कि पटनासिटी के भद्र घाट से किला घाट तक गंगा नदी के किनारे नवनिर्मित सड़क से दक्षिण दिशा मे 100 मीटर के त्रिज्या मे अवस्थित समस्त भूमि पर चल रहे अवैध निर्माण कार्य के कुत्सित प्रयास को अविलंब रोकने का निर्देश दिया जाता है.उसके बावजूद चल रहे निर्माण कार्य इस बात की गवाही दे रहे हैं कि भूमाफियाओं के बढ़ते हौसलों के आगे अधिकारियों के आदेश कोई मायने नहीं रखते.

Ravi sharma

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